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मॉडल वर्गीकरण

मॉडल वर्गीकरण
हालाँकि 33 किलो हर्ट्ज संकेत में बैकस्कैटर शक्ति 210 किलो हर्ट्ज संकेत की तुलना में ज्यादा मजबूत है, परन्तु वह बैक्स्कैटर शक्ति और बायोमास आबादी के बीच में कोई परस्पर संबंध नहीं दर्शाती है।

जी. ई. मॉडल परिचय - Yes. E. Model Introduction

पारंपरिक बोस्टन मैट्रिक्स एक शक्तिशाली और लोकप्रिय उपकरण है, इसका मतलब यह है कि प्रत्येक कंपनी प्रत्येक चक्र में उत्पाद की पहचान करेगी, और यह कि क्वार्टरों में उत्पादों की स्थिर गति होनी चाहिए क्योंकि वे अपने जीवन चक्र में प्रगति करते हैं। लेकिन यह बात बदलते बाजार नियमो में ठीक नहीं बैठ रहा था।

इस कारण से, कुछ सलाहकार जीई / मैककिंजे मैट्रिक्स के इस्तेमाल की वकालत करते हैं। जीई/ मैककिन्से मैट्रिक्स बाज़ार वर्गीकरण के बजाय व्यापार इकाई की ताकत और उद्योग के आकर्षण के अनुसार अधिक वर्गीकरण विकल्प और उपाय उत्पाद प्रदान करता है,

जिसकी जटिलता एक अलग-अलग कंपनी के नियंत्रण से बाहर हो सकती है। १९७० के दशक में, जनरल इलेक्ट्रिक ने अपने सलाहकारों से कहा, एक पोर्टफोलियो प्रबंधन मॉडल विकसित जाये जो इसकी जरूरतों के अनुरूप होगा। उस मुताबिक जीई, जो उस समय लगभग 150 व्यापारिक इकाइयां थी, बीसीजी मैट्रिक्स का इस्तेमाल कर रहे थे, लेकिन अंततः यह एक अधिक परिष्कृत रूपरेखा की आवश्यकता महसूस कर रहा था ताकि यह तय हो सके कि यूनिटों में से कौन-से विकास विधियों के हकदार हैं।

गोयल ने कॉटेज एम्पोरियम के पुनरुद्धार के लिये सार्वजनिक-निजी भागीदारी मॉडल की वकालत की

नयी दिल्ली, 11 नवंबर (भाषा) केंद्रीय कपड़ा मंत्री पीयूष गोयल ने अधिकारियों को कॉटेज एम्पोरियम के पुनरुद्धार और इसके कारोबार के विस्तार में सार्वजनिक निजी भागीदारी (पीपीपी) की संभावना तलाशने का निर्देश दिया है।

कपड़ा मंत्री बृहस्पतिवार को सेंट्रल कॉटेज इंडस्ट्रीज कॉरपोरेशन (सीसीआईसी) के तहत आने वाली खुदरा दुकान सेंट्रल कॉटेज इंडस्ट्रीज एम्पोरियम के निरीक्षण के दौरान यह बात कही।

उन्होंने एक आधुनिक और व्यवहार विपणन मंच प्रदान करके विश्वस्तर पर भारतीय शिल्प को बढ़ावा देने पर जोर दिया।

कपड़ा मंत्रालय ने बयान में उनके हवाले से कहा, ‘‘गोयल ने पूरे भारत से प्रदर्शित हथकरघा और हस्तशिल्प उत्पादों के संग्रह की सराहना की जो देश की समृद्ध विरासत को अभिव्यक्त करता है। इसमें एक जिला एक उत्पाद (ओडीओपी), भौगोलिक संकेतक का दर्जा प्राप्त उत्पाद शामिल हैं।’’

Models Used for Making Business Decisions | Business Management

There are several basic kinds of models used for making business decisions. The models are:- 1. Analog Model 2. Iconic Model 3. Verbal Model 4. Mathematical Model.

Model Classification

1. Analog Model:

An ‘analog’ model is a physical representation of the real world. A mock-up of an airplane is an analog model. An architect may place a mock-up of a building to examine the characteristics of alternative designs. Such models are always reduced in size.

An ‘iconic’ model is one which does not act like the real thing (as the analog model does) but only looks like it. For example, a road map or an organisation मॉडल वर्गीकरण chart.

A road map abstracts the facts like distance, direction, kinds of highways, bridges and tunnels, etc. needed by a driver. Similarly, in an organisation chart, the boxes represent specific offices or formal roles and the lines represent channels of communications and reporting relationships.

3. Verbal Model:

It involves a verbal description of a real situation. Language, written or spoken, is employed to abstract the relevant factors or characteristics. A newspaper description of a football game is a verbal model.

This model employs mathematical manipulation of symbols to abstract and represent the behaviour of a real-world system. The use of electronic computers has led to the rapid and wide adoption of mathematical models in managerial decisions. A complex series of mathematical formulae representing the growth of Indian economy can be classified as a model.

Following is a simple example of a mathematical expression which could be classified as a model:

Let us assume that the final product C takes two units of raw material A and five units of raw material B to manufacture C. Let the costs of A is Rs. 30 per unit, and the cost of B is Rs. 80 per unit. Therefore, 2A + 5B = C is the relationship.

ब्रायोफाइटा (Bryophyta)

ब्रायोफाइटा (Bryophyta) वनस्पति जगत का एक बड़ा वर्ग है। इसके अन्तर्गत वे सभी पौधें शामिल हैं जिनमें वास्तविक संवहन ऊतक (vascular tissue) नहीं होते, जैसे – मोसेस (mosses), हॉर्नवर्ट (hornworts) और लिवरवर्ट (liverworts) आदि। यह संसार के सभी भू-भाग में पाया जाता मॉडल वर्गीकरण है, लेकिन यह मनुष्य के लिए किसी विशेष प्रयोग का नहीं है। वैज्ञानिक प्राय: इस एक मत पर ही है कि यह […]

टेरिडोफ़ाइटा फर्न किस्म के पौधे होते हैं। इनमें कुछ पौधे आज भी पाए जाते हैं, पर एक समय, 35 करोड़ वर्ष पूर्व, डिवोनी युग में इनका बाहुल्य और साम्राज्य था, जैसा इनके फाँसिलों से ज्ञात होता है और ये संसार के हर भाग में फैले हुए थे। कोयले के फॉसिलों में ये विशेषतः रूप से पाए जाते […]

जिम्नोस्पर्म (gymnosperm)

संवहनी पौधों में फूलवाले पौधों को, जिनके बीज नंगे होते हैं, अनावृतबीजी कहते हैं। इसके पौधे मुख्यत: दो प्रकार के होते हैं – साइकाडोफाइटा (Cycadophyta) कोनिफेरोफाइटा (Coniferophyta) 1. साइकाडोफाइटा (Cycadophyta) – यह साइकस की तरह मोटे तनेवाले होते हैं, जिनके सिरे पर एक झुंड में लंबी पत्तियाँ निकलती हैं और मध्य में विशेष प्रकार की […]

आवृतबीजी पौधों में बीज बंद रहते हैं और इस प्रकार यह अनावृतबीजी से भिन्न हैं। इनमें जड़, तना, पत्ती तथा फूल भी होते हैं। एक बहुत ही बृहत् और सर्वयापी उपवर्ग है। इस उपवर्ग के पौधों के सभी सदस्यों में पुष्प लगते हैं, जिनसे बीज फल के अंदर ढकी हुई अवस्था में बनते हैं। ये वनस्पति जगत् के सबसे […]

समुद्रतल निवास निरूपण में ध्वानिकी का प्रयोग

समुद्री तट

समुद्री तट सारांश
इस अध्ययन में ध्वनिक तरीके से समुद्रतल निवास की विशेषताओं का विवरण है। इसमें दोहरी (210 और 33 किलो हर्टज) बैक्स्कैटर संकेत आवृत्ति का, समुद्रतल तलछट और बेन्थिक बायोटा के साथ, परस्पर क्रिया का वर्णन है। इस प्रयोग में हमारा अन्वेषण क्षेत्र, भारत के मध्य पश्चिमी तट गोवा क्षेत्र के अपतटीय हिस्से में है, जहाँ समुद्र की गहराई 27-83 मीटर है। विभिन्न ग्रैन आकार के अवसादों के लिये दोहरी उच्च आवृत्ति प्रणालियों के परिणामों में पावर लाव प्रतिपादक का अनुमान, समुद्र तल स्थलाकृति डेटा के साथ बराबर पाया गया है। जुटना मानकों (प्रयोग गुंज चोटियों) की तुलना में बैक्स्कैटर संकेत मॉडल वर्गीकरण आवृत्ति का तलछट और बेन्थिक मापदंडो के साथ बेहतर पारस्परिक संबंध पाया गया है। 210 किलो हर्ट्ज बैक्स्कैटर संकेत में रेत और कैल्शियम कार्बोनेट तलछट के लिये सही पारस्परिक संबंध पाए गए हैं एवं मेक्रोबेन्थिक बायोमास और जनसंख्या घनत्व के लिये भी सार्थक पाए गए। हालाँकि 33 किलो हर्ट्ज के लिये सही परिणाम नहीं पाए गए जो कि एक अलग बिखराव प्रक्रिया की ओर संकेत करते हैं।

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