भारतीय स्टॉक एक्सचेंज की सूची

जब कंपनी पहली बार अपने शेयर को शेयर बाजार में लाती ही तो उसे IPO (Initial Public offering) कहते हैं. स्टॉक एक्सचेंज में शेयर के अलावा बांड, म्यूच्यूअल फण्ड, सरकारी प्रतिभूतियाँ आदि में भी ट्रेडिंग की जाती है.
भारत के मान्यता प्राप्त स्टॉक एक्सचेंजों की सूची
स्टॉक एक्सचेंज क्या है, स्टॉक एक्सचेंज की स्थापना कब हुई, स्टॉक एक्सचेंज की संख्या, भारत में कुल कितने स्टॉक एक्सचेंज हैं आदि पूछे जाने प्रश्नों का ध्यान में रखकर हम यहां स्टॉक एक्सचेंज भारतीय स्टॉक एक्सचेंज की सूची के बारे में चर्चा कर रहे है।
स्टॉक एक्सचेंज एक ऐसी बाज़ार है जहां निवेशक कंपनियों द्वारा विभिन्न कंपनियों के शेयर, बांड और अन्य प्रतिभूतियों को ख़रीदा और बेचा जाता हैं। सन् 1875 में स्थापित मुंबई का शेयर बाजार (बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज) एशिया का पहला शेयर बाजार है। स्टॉक मार्केट को भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (सेबी) द्वारा प्रबंधित और विनियमित किया जाता है। अब तक देश में 23 सेबी के स्वीकृत स्टॉक एक्सचेंज हैं। सेबी ने सुस्त कामकाज के कारण 09 जुलाई 2007 को सौराष्ट्र स्टॉक एक्सचेंज, राजकोट की मान्यता रद्द कर दी थी।
भारत में स्टॉक एक्सचेंज का इतिहास (History of Stock Exchange in Hindi)
दुनिया में सबसे पहले स्टॉक एक्सचेंज सन 1602 में Dutch East India Company के द्वारा नीदरलैंड में स्थापित किया गया था. आज इसे Euronext Amsterdam Stock Exchange के नाम से जाना जाता है. यह विश्व का सबसे पुराना स्टॉक एक्सचेंज है.
भारत की बात करें तो भारत का सबसे पुराना स्टॉक एक्सचेंज Bombay Stock Exchange है, जिसकी स्थापना 1875 में मुंबई में हुई थी. BSE पुरे एशिया का भी सबसे पुराना स्टॉक एक्सचेंज है.
आज के समय में स्टॉक्स एक्सचेंज इलेक्ट्रॉनिक सिस्टम के द्वारा होता है लेकिन पहले के समय में जब इंटरनेट नहीं था तब स्टॉक्स एक्सचेंज कागजों के द्वारा होता था. अगर कोई निवेशक किसी कंपनी के शेयर खरीदता था भारतीय स्टॉक एक्सचेंज की सूची तो उसे एक सर्टिफिकेट मिलता है जो इस बात का प्रमाण रहता था कि निवेशक के पास कंपनी के शेयर हैं.
स्टॉक्स एक्सचेंज कैसे काम करता है
स्टॉक एक्सचेंज निवेशक और कंपनी के बीच में एक मध्यस्थ की भूमिका निभाता है. जब कंपनी को फण्ड जुटाने के लिए पैसों की जरुरत होती है तो वह कुछ अपने कुछ प्रतिशत शेयर आम जनता के लिए सार्वजनिक करती है.
कंपनी को शेयर सार्वजनिक करने के लिए पहले खुद को स्टॉक एक्सचेंज में लिस्ट करवाना होता है, एक बार कंपनी स्टॉक एक्सचेंज में लिस्ट हो जाती है तो निवेशक ब्रोकर के द्वारा कंपनी के शेयर में ट्रेडिंग कर सकते हैं. जो ब्रोकर होता है वह स्टॉक एक्सचेंज का सदस्य होता है. एक निवेशक सीधे तौर पर स्टॉक एक्सचेंज से शेयर नहीं खरीद सकता है.
शेयर बाजार में हर समय शेयर खरीदने और बेचने के लिए अनेक सारे लोग उपलब्ध होते हैं. जब कोई निवेशक शेयर को खरीदना या बेचना चाहता है तो वह अपने आर्डर को लगा देता है. फिर स्टॉक एक्सचेंज का ट्रेडिंग सिस्टम स्वतः ही भारतीय स्टॉक एक्सचेंज की सूची खरीदने और बेचने वाले को Match करवाकर Order Complete कर देता है.
स्टॉक एक्सचेंज में निवेश करने के तरीके
स्टॉक एक्सचेंज में दो प्रकार से निवेश किया जाता है –
#1 – प्राइमरी मार्केट
जब कोई कंपनी पहली बार अपने शेयर को मार्केट में लाती है तो उसे IPO कहा जाता है. निवेशक जब कंपनी के IPO को खरीदता है तो उसे प्राइमरी मार्केट में खरीदना पड़ता है. मतलब कि प्राइमरी मार्केट में वह किसी अन्य निवेशक से कंपनी के शेयर को नहीं भारतीय स्टॉक एक्सचेंज की सूची खरीद रहा है. प्राइमरी मार्केट में ही शेयर या प्रतिभूतियों का निर्माण होता है.
#2 – सेकेंडरी मार्केट
वास्तव में सेकेंडरी मार्केट को ही शेयर बाजार कहा जाता है. सेकेंडरी मार्केट में निवेशक कंपनियों को शामिल किये बिना शेयर में ट्रेड करते हैं. यानि कि सेकेंडरी मार्केट ऐसा मार्केट होता है जहाँ पर निवेशक सीधे तौर पर कंपनी भारतीय स्टॉक एक्सचेंज की सूची से शेयर नहीं खरीदते हैं, कंपनियों के शेयरों को उन्हें अन्य निवेशकों से खरीदना पड़ता है.
भारत में मुख्य स्टॉक एक्सचेंज (Stocks Exchange in India)
भारत में मुख्य तौर पर दो स्टॉक एक्सचेंज हैं –
- BSE (Bombay Stocks Exchange)
- NSE (National Stocks Exchange)
#1 – BSE (Bombay Stocks Exchange)
BSE यानि कि बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज भारत ही नहीं बल्कि पुरे एशिया का सबसे पुराना स्टॉक एक्सचेंज है. BSE दुनिया का दसवां सबसे बड़ा स्टॉक एक्सचेंज है.
BSE की स्थापना 1875 में हुई थी. BSE की शुरुवात भारत की आर्थिक राजधानी कहे जाने वाले शहर मुंबई में बरगद के एक पेड़ के नीचे हुई थी. उस पेड़ के नीचे कुछ लोग एकत्र होकर शेयरों की लेन – देन करते थे. धीरे – धीरे लोगों की संख्या बढ़ने लगी तो शेयरों की लेन – देन के लिए एक नया स्थान खोजा गया जो दलाल स्ट्रीट के नाम से प्रसिद्ध हुआ. BSE की स्थापना प्रेमचंद रायचंद के द्वारा 300 लोगों के साथ मिलकर भारतीय स्टॉक एक्सचेंज की सूची की गयी थी.
बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज
बीएसई लिमिटेड , भी रूप में जाना जाता भारतीय स्टॉक एक्सचेंज की सूची बंबई स्टॉक एक्सचेंज , एक भारतीय है शेयर बाजार पर स्थित दलाल भारतीय स्टॉक एक्सचेंज की सूची स्ट्रीट में मुंबई । १८७५ में स्थापित, [५] यह एशिया का सबसे पुराना स्टॉक एक्सचेंज है। [६] बीएसई मई २०२१ तक २,१८,भारतीय स्टॉक एक्सचेंज की सूची ७३० अरब रुपये से अधिक के कुल बाजार पूंजीकरण के साथ ९वां सबसे बड़ा स्टॉक एक्सचेंज है । [३]
- बस। विक्रमजीत सेन
( अध्यक्ष ) [2]
( एमडी और सीईओ )
जबकि बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज लिमिटेड अब दलाल स्ट्रीट का पर्याय बन गया है, ऐसा हमेशा से नहीं था। १८५० के दशक में, पांच स्टॉक ब्रोकर मुंबई टाउन हॉल के सामने बरगद के पेड़ के नीचे एकत्र हुए, जहां अब हॉर्निमैन सर्कल स्थित है। [7] एक दशक बाद, दलालों ने अपने स्थान को भारतीय स्टॉक एक्सचेंज की सूची एक और पत्तेदार सेटिंग में स्थानांतरित कर दिया, इस बार मीडोज स्ट्रीट के जंक्शन पर बरगद के पेड़ों के नीचे और जिसे तब भारतीय स्टॉक एक्सचेंज की सूची एस्प्लेनेड रोड कहा जाता था, अब महात्मा गांधी रोड। दलालों की संख्या में तेजी से वृद्धि के साथ, उन्हें बार-बार स्थान बदलना पड़ा। अंत में, 1874 में, दलालों को एक स्थायी स्थान मिला, जिसे वे अपना कह सकते थे। दलालों का समूह 1875 में "द नेटिव शेयर एंड स्टॉक ब्रोकर्स एसोसिएशन" के नाम से जाना जाने वाला एक आधिकारिक संगठन बन गया। [8]
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बीएसई की आधिकारिक वेबसाइट पर छुट्टियों 2022 की सूची के अनुसार, आज इक्विटी सेगमेंट, इक्विटी डेरिवेटिव सेगमेंट और एसएलबी सेगमेंट में कोई एक्शन नहीं होगा. इस बीच करेंसी डेरिवेटिव्स सेगमेंट और इंटरेस्ट रेट डेरिवेटिव्स सेगमेंट में ट्रेडिंग भी आज निलंबित रहेगी. कमोडिटी खंड में, सुबह और शाम दोनों सत्र में कारोबार निलंबित रहेगा.
गौरतलब है कि मंगलवार को बाजार जहां कारोबार के लिए खुला रहेगा, वहीं, इस दिन पारसी नव वर्ष के उपलक्ष्य में डिपोजिटरी बंद रहेंगी. इसलिए पारसी नववर्ष के कारण 16 अगस्त 2022 को बंदोबस्ती अवकाश है. निपटान अवकाश एक दिन के लिए शेयरों में लेनदेन के निष्पादन में देरी करता है.
अगस्त में बुधवार, 31 अगस्त, 2022 को गणेश चतुर्थी के लिए व्यापारिक अवकाश के कारण शेयर बाजार एक और दिन छुट्टी होगी. इसलिए, गणेश चतुर्थी समारोह के लिए एनएसई और बीएसई में व्यापार 31 अगस्त को निलंबित रहेगा. बीएसई और एनएसई पर 2022 में ट्रेडिंग अवकाश भी 5 अक्टूबर, 24 और 26 अक्टूबर को और अंत में 8 नवंबर को होगा.