विदेशी मुद्रा व्यापार का परिचय

प्रत्यक्ष विदेशी निवेश

प्रत्यक्ष विदेशी निवेश
टॉप छह राज्यों में केवल गुजरात और महाराष्ट्र में एफडीआई इनफ्लो में गिरावट आई है. कॉन्फेडेरेशन प्रत्यक्ष विदेशी निवेश ऑफ इंडियन इंडस्ट्री (CII) गुजरात के चेयरमैन और अनुपम रसायन इंडिया लिमिटेड के एमडी आनंद देसाई ने कहा, अन्य सभी राज्यों में कर्नाटक में 187 फीसदी, दिल्ली में 50 फीसदी, तमिलनाडु में 30 फीसदी और हरियाणा में 67 फीसदी की बढ़ोतरी दर्ज की गई.

केजरीवाल प्रत्यक्ष विदेशी निवेश पर मौन क्यों : बृंदा

नई दिल्ली: मार्क्‍सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) की नेता बृंदा करात ने सोमवार को प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआई) को लेकर दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के रुख की आलोचना की। माकपा के पोलित ब्यूरो की सदस्य ने कहा कि प्रचंड जनादेश का अर्थ यह नहीं है कि दिल्ली के मुख्यमंत्री अपनी मरजी और पसंद की करें।

करात ने यहां एक विरोध सभा में कहा, “अरविंद केजरीवाल विभिन्न मुद्दों पर केंद्र से भिड़ते रहते हैं और हम दिल्ली को पूर्ण राज्य बनाने प्रत्यक्ष विदेशी निवेश जैसे उनके कुछ मुद्दों का समर्थन करते हैं। हमने इस मुद्दे को संसद में भी उठाया है।”

उन्होंने कहा, “यदि दिल्ली की जनता ने केजरीवाल को प्रचंड बहुमत दिया है, तो इसका मतलब यह नहीं है कि वह अपने किए गए वादों से मुकर जाएं, बिजली और पानी मुहैया नहीं कराएं या कामगारों के हक को नुकसान पहुंचाएं।”

विशेष लेख : भारत और प्रत्यक्ष विदेशी निवेश प्रत्यक्ष विदेशी निवेश, नजरिया बदलने की है जरूरत

केंद्र सरकार प्रत्यक्ष विदेशी निवेश लगातार देश में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआई) को बढ़ाने की बात कहती आ रही है. पिछले कुछ समय में, चीन और अमेरिका के बीच बढ़े व्यापारिक तनाव के कारण, एक बार फिर पूर्वी और दक्षिण एशिया में एफडीआई लाने की तरफ काम शुरू हुआ है. पिछले दो महीने में, थाईलैंड ने निवेश को लुभाने के लिए अपने यहां, चीन से आने प्रत्यक्ष विदेशी निवेश वाली नई कंपनियों के लिए कर की दरों में 10% की कटौती की है. इस कटौती के कारण भारत सरकार ने भी कुछ हफ्ते पहले अपने यहां टैक्स कटौती की है.

इस सदी की शुरुआत से ही, एफडीआई की रफ्तार ज्यादातर बढ़ते बाजारों में कम रही है. वहीं भारत, विदेशी पोर्टफोलियो निवेश के लिहाज से आगे है, जिसमे अधिकतर निवेश स्टॉक मार्केट में होता है और इसे कमाई का तेज प्रत्यक्ष विदेशी निवेश जरिया माना जाता है. मंदी के दौर से गुजर रहे भारतीय बाजार में इस तरह के बदलावों को देखते हुए यह तय है कि आने वाले समय में एफडीआई को अपने यहां और ज्यादा आकर्षित करने की जरूरत है.

खुदरा व्यापार में 100% प्रत्यक्ष विदेशी निवेश बजट के खिलाफ एसयूसीआई का विरोध मार्च

खुदरा व्यापार में शत प्रतिशत प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआई) और जनविरोधी केन्द्रीय बजट के खिलाफ अखिल भारतीय विरोध दिवस के अवसर पर पार्टी कार्यकर्ताओं व समर्थकों ने शहर में विरोध मार्च निकाला व खुदरा व्यापार में 100 प्रतिशत एफडीआई के विरोध में पंफलेट वितरण किया।

केन्द्रीय बजट को पूरी तरह जनविरोधी और गरीब विरोधी प्रत्यक्ष विदेशी निवेश बताते हुए एसयूसीआई (सी) जिला सचिव रामफल ने बताया कि देशी-विदेशी पूंजीपतियों के हित में तैयार यह बजट छोटे उद्योगों और खुदरा व्यापारियों को तबाह कर देगा। उन्होंने बताया कि इस बजट में रोजगार के सृजन को लेकर न कोई योजना है और न ही महंगाई को नियंत्रित करने का कोई ठोस कदम। उन्होंने खुदरा व्यापार में शत प्रतिशत प्रत्यक्ष विदेशी निवेश और महंगाई बढ़ाने वाले केन्द्रीय बजट के खिलाफ आम दुकानदारों व आम लोगों से आंदोलन गठित करने की अपील की। उन्होंंने खुदरा व्यापार से एफडीआई के फैसले को तुरंत वापस लेने की मांग की। इस अवसर पर राजकुमार जांगड़ा, धर्मवीर सिंह, राजकुमार जांगड़ा, संदीप मेहरा, ममता, जयवीर, श्रीभगवान, पूनम, अनिल व जगन आदि थे।

विदेशी निवेश जुटाने के मामले में हरियाणा, दिल्ली से पिछड़ा गुजरात, छठे स्थान पर खिसका

विदेशी निवेश जुटाने के मामले में हरियाणा, दिल्ली से पिछड़ा गुजरात, छठे स्थान पर खिसका

TV9 Bharatvarsh | Edited By: संजीत कुमार

Updated on: Jun 15, प्रत्यक्ष विदेशी निवेश 2022 | 10:16 AM

प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (FDI) को आकर्षित करने वाले राज्यों की सूची में टॉप पर रहने के एक साल बाद गुजरात फिसलकर छठे स्थान पर आ गया है. डिपार्टमेंट फॉर प्रोमोशन ऑफ इंडस्ट्री एंड इंटरनल ट्रेड (DPIIT) की ताजा आंकड़ों के मुताबिक, एफडीआई आकर्षित करने के मामले में गुजरात कर्नाटक, महाराष्ट्र, दिल्ली, तमिलनाडु और हरियाणा के बाद छठे नंबर रहा है. वित्त वर्ष 2021-22 में गुजरात केवल 20,169 करोड़ रुपए विदेशी निवेश आकर्षित कर पाया. इंडस्ट्री प्रत्यक्ष विदेशी निवेश एक्सपर्ट का कहना है कि 2021-22 और आगामी विधानसभा चुनावों में राजनीतिक व्यवस्था में बदलाव के बावजूद प्रत्यक्ष विदेशी निवेश निवेशक गुजरात को स्थिर नीतियों वाले राज्य के प्रत्यक्ष विदेशी निवेश रूप में देखते हैं.

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कोयला खनन से जुड़े श्रम संगठन कोयला निकासी क्षेत्र में 100 प्रतिशत प्रत्यक्ष विदेशी निवेश की केंद्र सरकार की नीति का विरोध कर रहे हैं. अखिल भारतीय कोयला श्रमिक महासंघ ने बताया कि हड़ताल में पूरे भारत से तक़रीबन पांच लाख कर्मचारी शामिल हुए.

देश भर में हुई हड़ताल में तक़रीबन पांच लाख कर्मचारी शामिल हुए.

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कोलकाता: कोयला क्षेत्र के श्रम संघों ने मंगलवार प्रत्यक्ष विदेशी निवेश को दावा किया कि उनकी एक दिन की हड़ताल से कोल इंडिया लिमिटेड, तेलंगाना स्थित सिंगरेनी कोलियरीज कंपनी लिमिटेड और राज्य के सभी कोयला खदानों में काम पूरी तरह से ठप रहा.

उनका कहना है कि इन खदानों में कोयले का उत्पादन और लदान बिल्कुल बंद है. श्रम संगठन कोयला निकासी क्षेत्र में विदेशी कंपनियों को अपने पूर्ण स्वामित्व में कारोबार की अनुमति देने की नीति का विरोध कर रहे हैं.

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